New Delhi. भारत ने डलास में मृत पाई गई बच्ची शेरिन मैथ्यूज के माता-पिता और करीबी रिश्तेदारों का ओवरसिज सिटिजनशिप कार्ड ऑफ इंडिया रद्द करने का फैसला किया है।
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ह्यूस्टम में भारत के महाधिवक्ता अनुपम रे का कहना है कि भारत सरकार ने इन सभी लोगों का OCI कार्ड रद्द किया है क्योंकि यह जनहित में नहीं है।अनुपम रे ने कहा है कि हालांकि इस मामले की सुनवाई दिल्ली में चल रही है, लेकिन भारत सरकार इस जघन्य कृत्य के लिए आरोपियों को वीजा देना नहीं चाहती।
गौरतलब है कि पिछले साल 22 अक्टूबर को तीन वर्षीय बच्ची शेरिन मैथ्यूज का मृत शरीर उसके घर के पास के एक पुलिया में मिला था। इसके ठीक दो सप्ताह पहले उसके माता-पिता ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जिस व्यक्ति ने शेरिन को गोद लिया था उसने पुलिस को बताया कि शेरिन दूध नहीं पी रही थी, इसकी सजा देने के लिए उसे सुबह के तीन बजे घर से बाहर निकाल दिया गया।
हालांकि बाद में उन्होंने बयान बदलते हुए कहा कि जिस रात को शेरिन का शव मिला था उस रात वे और उनकी पत्नी खाना खाने के सिलसिले में बाहर गए थे और शेरिन घर पर अकेली थी।केरल के दम्पति ने साल 2016 में बिहार के एक अनाथालय से शेरिन को लाया था। पिछले साल शेरिन के साथ हुई इस घटना ने देशभर में आक्रोश भर दिया था।
इससे पहले भी भारत सरकार ने शेरिन के पिता के दो दोस्त मनोज अब्राहम और निसी अब्राहम की ओवरसिज सिटीजनशिप ऑफ इंडिया कार्ड रद्द कर चुकी है। इन दोनों ने इसके खिलाफ दिल्ली उच्च न्यायालय में अर्जी दी है। भारत के महाधिवक्ता अनुपम रे का कहना है कि सरकार इस परिवार के करीबी लोगों को ब्लैक लिस्ट करने पर विचार कर रही है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि आरोपियों ने जांच के दौरान सहयोग नहीं की है।
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