New Delhi : भारतीय टीम के कप्तान विराट कोहली और पूर्व कोच अनिल कुंबले के बीच विवाद ने टीम इंडिया को पीछे धकेल दिया है। वेस्टइंडीज़ दौरे पर गई टीम दो वनडे मैच खेल चुकी है।
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पहला मैच बारिश की भेंट चढ़ गया लेकिन दूसरे वनडे में भारत ने 105 रन से बड़ी जीत हासिल की, लेकिन 2019 वर्ल्ड कप को देखते हुए अब भी सवाल बरक़रार है। वेस्ट इंडीज़ टीम के स्टार खिलाड़ी सीरीज़ में नहीं खेल रहे, इसके बावजूद विराट कोहली बेंच स्ट्रेंथ को आज़माने से कतरा रहे हैं। आख़िर कब तक कोहली इस बड़े सवाल से मुंह मोड़ेंगे?
टीम इंडिया के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने 2019 वर्ल्डकप के बारे में पूछने पर कहा था कि पहले हमें ये देखना होगा कि सभी खिलाड़ी जो वर्ल्डकप में खेलेंगे उन्हें कम से कम 50 से 60 वनडे मैचों का अनुभव हासिल हो जाए। लगता है कप्तान कोहली ने भारत के सबसे सफल कप्तान के बयान को नहीं सुना है।अगर सुना होता तो वे वेस्ट इंडीज़ दौरे पर कई प्रयोग कर चुके होते। टीम इंडिया में सबसे बड़ा सवाल युवराज सिंह और ख़ुद महेंद्र सिंह धोनी को लेकर उठ रहा है। दोनों की उम्र 2019 वर्ल्डकप तक क्रिकेट खेलने की इजाज़त देगी इस पर संदेह हैं, लेकिन इस पर न तो बीसीसीआई और न ही कप्तान कोहली विचार कर रहे हैं।
बीसीसीआई के अधिकारी कमेटी ऑफ़ एडमिनेस्ट्रेटर्स से भिड़ने में अपनी ताक़त लगा रहे हैं तो कोहली टीम का कोच कौन बनेगा, इस पर माथापच्ची कर रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ़ दक्षिण अफ़्रीका, इंग्लैंड और वेस्टइंडीज़ ने 2019 पर नज़रें जमा रखीं हैं। इस क्रम में दक्षिण अफ़्रीका और इंग्लैंड के ख़िलाफ़ हाल ही में ख़त्म हुए T20 सीरीज़ में कुल 7 नए चेहरे मैदान पर दिखाई दिए। अफ़्रीकी टीम की ओर से 2 क्रिकेटरों ने डेब्यू किया तो इंग्लिश टीम ने 5 खिलाड़ियों को आज़माया। वेस्ट इंडीज़ ने भारत के साथ होने वाले बाक़ी बचे 3 वनडे मैचों के लिए काइल होप और सुनील एंब्रिस का चयन किया है। हालांकि भारत की तरफ़ से कुलदीप यादव को मौक़ा मिला है लेकिन अब भी विकेटकीपर-बल्लेबाज़ ऋषभ पंत ब्रेंच पर अपनी बारी के इंतज़ार में हैं।
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