GST में शामिल राज्य सरकार के कर
GST लागू होने पर राज्य के जिन अप्रत्यक्ष करो को हटाया गया हे वो इस प्रकार हे:-
राज्य सरकार के अप्रत्यक्ष कर :-
1. राज्यीय वेट ( State Vat ) जिन राज्यों में वेट लागु हे उन राज्य में वस्तुओ के क्रय विक्रय पर लगने वाले टैक्स को (Value added Tax) राज्यीय वेट कहते हे | यह कर प्रत्येक स्तर पर विक्रय बड़ने वाले मूल्य पर लागत हे इसलिए इसे (Value added Tax) कहते हे | इस से सरकार को ज्यादा राजस्व भी प्राप्त होता हे |2. विक्रय कर ( Sales Tax ) जिन राज्यों में वेट लागु नहीं हे उन राज्यों में वस्तुओ के विक्रय पर (Sales tax) लगता हे जिसे विक्रय कर भी कहते हे | इस कर की गणना वैट के नियमो से अलग होती हे तथा इसमें रिफंड के प्रावधान भी वेट से अलग होते | हर राज्य पर निर्भर करता हे की वो अपने राजस्व को देखकर ही वेट या विक्रय कर को लागु करे ये अधिकार केंद्र सरकार ने राज्यों को दिए हे | कियोकी हर राज्य की आर्थिक और भोगोलिक स्थिति अलग होती हे
3. मनोरंजन कर ( Entertainment Tax ) यह कर सभी प्रकार के मनोरंजन और उनके माध्यमओ लगाया जाता हे जेसे फिल्म, टॉकीज, पीवीआर, मल्टीप्लेक्स, फनक्लब, गेमिंग, पार्क, आदि।
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4. प्रवेश शुल्क ( Entry Tax ) जब कोई भी वस्तु किसी भी ट्रांसपोर्ट के माध्यम से एक राज्य से दुसरे राज्य की सीमा में प्रवेश करती तब यह कर लगाया जाता हे | इस कर की दर अधिकतर राज्यों में 1% हे |
5. लाटरी कर ( Lottery Tax ) यह कर सभी प्रकार की इनामी योजना एवं और लाटरी पर लगाया जाता हे |
6. विलासिता कर ( Luxury Tax ) यहाँ कर सभी प्रकार की विलासिता की वस्तुओ और सेवाओ पर लगाया जाता हे |
7. क्रय कर ( Purchase Tax ) जिन राज्यों (VAT) वेट लागु नही हे | उन राज्यों में वस्तुओ के क्रय पर लगने वाले कर को (Purchase Tax) या क्रय कर भी कहते हे | इस कर की दर हर राज्य के हिसाब से अलग अलग होती हे और वस्तुओ एवं सेवाओ की मांग के आधार पर होती हे | इस कर की गणना वैट के नियमो से अलग होती हे तथा इसमें रिफंड के प्रावधान भी वेट से अलग होते | हर राज्य पर निर्भर करता हे की वो अपने राजस्व को देखकर ही वेट या क्रय कर को लागु करे ये अधिकार केंद्र सरकार ने राज्यों को दिए हे | कियोकी हर राज्य की आर्थिक और भोगोलिक स्थिति अलग होती हे
8. विज्ञापन कर ( Advertisement Tax ) यह कर सभी प्रकार की वस्तुओ और सेवाओ के विज्ञापन पर लगाया जाता हे जो की Electronic Media या Print Media या होर्डिग के माध्यम से दिखाए जाते हे
9. राज्यीय सरचार्ज और सेस ( State Surcharge or cess ) यह कर राज्य सरकार अपने वितीय घाटे और विशेष कार्य के लिए और समाज में आमिर गरीब के अंतर को नियंत्रित रखने के लिए लगाती हे | इसको लागु करने और हटाने का पूरा अधिकार राज्य सरकार के पास होता हे | इस कर की दर राज्य सरकार अपने हिसाब से तय करती हे और इसकी आय पर पूर्ण अधिकार राज्य सरकार का होता हे | इस कर को हर राज्य अपनी आर्थिक स्थिति के हिसाब से काम या ज्यादा रखता हे |
किन्तु GST लागु होने पर इन सभी राज्य सरकार के करो को स्थाई तोर पर समाप्त कर दिया गया हे | ये केवल राज्य सरकार के करो का विवरण हे | जो GST लागु होने पर पूर्ण से समाप्त कर दिए गए हे।