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संस्मरण और रेखाचित्र में अंतर

नमस्कार पाठको, इस लेख के माध्यम से आप संस्मरण और रेखाचित्र में अंतर PDF प्राप्त कर सकते हैं। जैसा कि आप जानते ही हैं कि सामान्यतः रेखाचित्र को आरेखण नामक दृश्य कला के रूप में जाना जाता है कलम, पेंसिल, स्याही, ब्रश जैसी सामग्रियों के माध्यम से रेखाचित्र बनाया जाता है। अंग्रेजी भाषा में रेखाचित्र को “स्कैच” कहा जाता है।

रेखाचित्र के विपरीत संस्मरण उस विशेष लेख को कहा जाता है जिसे अपनी स्मृति के आधार पर किसे विशेष घटना या व्यक्ति पर केन्द्रित करके लिखा गया हो। इस प्रकार के लेख एवं रचनाएँ “संस्मरणात्मक निबंध” की शैली के अंतर्गत आते हैं। संस्मरण और रेखाचित्र में अंतर pdf के माध्यम से आप इस विषय में गहन जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।

रेखाचित्र और संस्मरण में अंतर PDF | Rekhachitra Aur Sansmaran Mein Antar PDF

संस्मरण ‘ आधुनिक गद्य साहित्य की बहुत ही महत्त्वपूर्ण विधा है। संस्मरण स्मृति के आधार किसी वस्तु अथवा व्यक्ति के वैशिष्ट्य को उजागर करने वाली लिखित रचना है। इसमें लेखक तटस्थ नहीं रह पाता है। प्रश्न संस्मरण रेखाचित्र के अत्यधिक निकट है। इसलिए इन दोनों की चर्चा प्राय: साथ ही की जाती है।

  • रेखाचित्र में किसी वस्तु, व्यक्ति या प्रसंग का अंकन किया जाता है। यह अंकन प्राय: तटस्थ रूप में होता है।
  • रेखाचित्र में व्यक्तित्व को समग्रतः और बहुत हद तक स्थिर रूप में चित्रित करने की कोशिश होती है। जबकि संस्मरण व्यक्ति को गत्यात्मक रूप में प्रस्तुत करता है।
  • रेखाचित्र आकृति को मोड़कर अंतः प्रकृति का अंकन करता है। संस्मरण में व्यक्ति के अतिरिक्त बाह्य घटनाओं को भी महत्त्व प्राप्त होता है।
  • रेखाचित्र में विख्यात, अविख्यात दोनों तरह के चरित्र महत्त्व पाते हैं। संस्मरण का आधार सामान्यतः महत्त्वपूर्ण व्यक्तित्व होता है।
  • रेखाचित्र के संस्मरण एक हद तक समाहित हो जाता है, पर संस्मरण में रेखाचित्र अधिकांशतः समाहित नहीं होता।

संस्मरण किसे कहते हैं?

जीवन की हर मार्मिक अनुभूतियों को स्मृति के आधार पर प्रभावशाली भाषा में चित्रित करना ही संस्मरण लेखन है। जैसे शिवरानी जी की कृति “प्रेमचंद घर में” उपेंद्रनाथ अश्क द्वारा लिखित “ज्यादा अपनी कम पराई” संस्मरण साहित्य की अनूठी धरोहर है।

संस्मरण की विशेषताएं –

  • संस्मरण का संबंध प्रायः महापुरुषों से होता है।
  • इसमें व्यक्तिपरकता का तत्व विद्यमान रहता है।
  • इसमें आत्मीयता के साथ वर्णन होता है।
  • संस्मरण विश्वसनीय होते हैं।

संस्मरण के लेखक और उनकी रचनाएं –

  • 1.उपेन्द्रनाथ अश्क द्वारा लिखित – ‘ज्यादा अपनी कम पराई।’
  • 2.भगवती चरण वर्मा द्वारा लिखित – ‘गणेश शंकर विद्यार्थी’

रेखाचित्र किसे कहते हैं?

जब हम किसी घटना व्यक्ति या वस्तु का शब्दों के माध्यम से ऐसा कलात्मक चित्रण करते हैं की आंखों के सामने चित्र से उपस्थित हो जाता है उसे रेखाचित्र कहते हैं।

रेखाचित्र की विशेषताएं –

  • इसमें किसी व्यक्ति, वस्तु या दृश्य का वर्णन होता है।
  • इसमें लेखक रोगोत्प्रेरक शब्दावली का प्रयोग करता है।

रेखाचित्र के लेखक और उनकी रचनाएं –

  • श्रीराम शर्मा द्वारा लिखित – ‘बोलती प्रतिभा’
  • महादेवी वर्मा द्वारा लिखित – ‘गौरा’

रेखाचित्र और संस्मरण में अंतर –

क्रमांक रेखाचित्र संस्मरण
1. रेखाचित्र में सांकेतिकता के आधार पर चित्रण होता है। संस्मरण में अनुभूतियों का स्मृति के आधार पर चित्रण होता है।
2. रेखाचित्र में लेखक पूर्णत: तटस्थ रहता है। संस्मरण में लेखक तटस्थ नहीं रहता उसमें आत्मीयता एवं व्यक्तिपरकता का तत्व होता है।
3. रेखाचित्र सांकेतिक और व्यंजक होता है। संस्मरण अमिधामूलक होता है।
4. रेखाचित्र सजीव होते हैं। संस्मरण विवरण प्रधान होते हैं।
5. रेखाचित्र वास्तविक और काल्पनिक होता है। संस्मरण वास्तविक होता है।

संस्मरण और रेखाचित्र में अंतर PDF प्राप्त करने हेतु कृपया नीचे दिये गए डाउनलोड बटन पर क्लिक करें।



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