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बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने प्रशांत किशोर के संबंध में पूछे गए सवाल पर पत्रकारों से बातचीत में कहा कि अगर कोई ट्वीट कर रहा है, तो करे। जब तक कोई पार्टी में रहना चाहेगा, तब तक वह रहेगा। और जब वह जाना चाहेगा, तो जा सकता है।
अमित शाह के कहने पर पार्टी में लाए :
नीतीश ने कहा कि अमित शाह के कहने पर ही प्रशांत किशोर को पार्टी में लेकर आए थे। अमित शाह ने कहा था कि प्रशांत को पार्टी में शामिल कर लीजिए। अब अगर उन्हें जदयू के साथ रहना है, तो पार्टी की नीति और सिद्धांतों के मुताबिक ही चलना पड़ेगा। प्रशांत किशोर पिछले कई दिनों से संशोधित नागरिकता कानून को लेकर केंद्र सरकार पर हमलावर हैं। पवन वर्मा पर भी तंज कसते हुए उन्होंने कहा कि अपनी राय रखने के लिए सभी आजाद हैं। कोई पत्र लिखते हैं, तो कोई ट्वीट करते हैं।
प्रशांत किशोर का जवाब
नीतीश के बयान के कुछ देर बाद प्रशांत किशोर ने कहा कि नीतीश जी ने कहा था कि उन्हें मेरे जवाब का इंतजार करना चाहिए। मैं बिहार उन्हें जवाब देने के लिए आ रहा हूं।
Prashant Kishor, Janta Dal-United (JD-U) Vice President to ANI: Nitish Ji has spoken, you should wait for my answer. I will come to Bihar to answer him. (File pic) https://t.co/lf5EepvUtS pic.twitter.com/32dIjuRpD1
— ANI (@ANI) January 28, 2020
एनपीआर के कॉलम में गलतियां
नागरिकता संशोधन कानून पर नीतीश कुमार ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट इस मामले को देख रही हैं। वहीं एनआरसी पर उन्होंने कहा कि इसे लेकर हम पहले ही अपना विरोध जता चुके हैं। प्रधानमंत्री ने भी इसको लेकर स्थिति स्पष्ट कर दी है। बिहार के सीएम ने एनपीआर के कॉलम में गलतियों का मुद्दा भी उठाया। उन्होंने कहा कि एनपीआर में माता-पिता के जन्म स्थान का विवरण मांगने वाले स्तंभों के संबंध में जो खामियां हैं, उसे लोकसभा और राज्यसभा में हमारे नेता सरकार से हटाए जाने को कहेंगे।
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