न चाह मुझे इस कदर,
होश में आ भी न सकूँ,
मेरी साँसें पड़े मद्धम ,
तुझे बता भी न सकूँ.
मेरे इश्क में सनम,
खुद को इतना न मिटा दे,
तू झुका हो मेरे सजदे में,
तुझे उठा भी न सकूँ.
देख के तेरी दीवानगी,
कहीं गुरूर न हो जाए,
वास्ता पड़े खुदा से,
सर झुका भी न सकूँ.
रहने दे ये मुहोब्बत,
छोड़ दे तन्हा मुझको,
कि ले जाएंगे जब देह मेरी,
रूह ले जा भी न सकूँ.
होश में आ भी न सकूँ,
मेरी साँसें पड़े मद्धम ,
तुझे बता भी न सकूँ.
मेरे इश्क में सनम,
खुद को इतना न मिटा दे,
तू झुका हो मेरे सजदे में,
तुझे उठा भी न सकूँ.
देख के तेरी दीवानगी,
कहीं गुरूर न हो जाए,
वास्ता पड़े खुदा से,
सर झुका भी न सकूँ.
रहने दे ये मुहोब्बत,
छोड़ दे तन्हा मुझको,
कि ले जाएंगे जब देह मेरी,
रूह ले जा भी न सकूँ.